शिवसेना और भारतीय जनता पार्टी के ठाणे जिले में रिश्तों की बात करें तो फिलहाल अच्छा नहीं चल रहा है। ठाणे के संसदीय सीट को लेकर इनमें तनातनी है तो कल्याण में भाजपा विधायक गणपत गायकवाड़ को शिवसेना नगरसेवक महेश गायकवाड़ गाहे बगाहे टेंशन देते रहते हैं। अब शिवसेना के विकी भुल्लर के जन्मदिन से उल्हासनगर भाजपा विधायक कुमार आयलानी को टेंशन हो गयी है तो भाजपा नेताओं की भौहें चढ़ गई हैं।
हरजिंदरसिंह भुल्लर उर्फ़ विकी भुल्लर उर्फ़ विकी भाई यहाँ के वरिष्ठ शिवसेना नगरसेवक राजेंद्रसिंह भुल्लर उर्फ़ महाराज के पुत्र हैं। विकी भाई शिवसेना की युवा इकाई के कल्याण जिला सचिव हैं। मंगलवार, 12 दिसम्बर 2023 को विकी भाई का जन्मदिन था। दोस्तों और समर्थकों ने इस साल उनके जन्मदिन पर बवेला काट दिया बवेला। फर्स्ट तो समर्थकों ने उनके बैनर पोस्टर पर भावी विधायक लिख दिया। सेकंड उनके निजी आवास पर दोस्तों, समर्थकों, शुभचिंतकों और कार्यकर्ताओं की इतनी गर्दी हो गयी कि लोगों को अपना रास्ता बदलकर जाना पड़ा। भीड़ ने-विकी भाई आगे बढ़ो, हम तुम्हारे साथ हैं- के नारे लगा दिए। ऐसा प्रतीत हो रहा था कि ऊपर से भुल्लर महाराज को कोई हिंट मिला था। लोगों ने मान लिया कि विकी भाई इस बार शिवसेना के टिकट से विधानसभा का चुनाव लड़ेंगे।
विकी भाई के जन्मदिन पर इस हंगामे ने वर्तमान विधायक कुमार आयलानी की टेंशन बढ़ गई है तो भाजपा नेताओं की भौंहें चढ़ गई हैं। कुमार आयलानी को शहर में बिना मतलब का, बिजनेसमैन विधायक माना जाता है। उन्हें सपना गार्डन और गोल मैदान का विधायक कहा जाता है। उनकी पॉपुलैरिटी इतनी कम है कि उल्हासनगर के कैंप नंबर चार और पांच में उन्हें कोई जानता ही नहीं। अब आप सवाल करेंगे कि जनता ने उन्हें विधायक कैसे चुना। जवाब है कि तब के विधायक सुरेश उर्फ़ पप्पू कालानी के आतंक से उल्हासनगर के व्यापारी तंग आ गए थे। पप्पू कालानी की बांटो और हफ्ता लो की राजनीति को व्यापारी भलीभांति समझ गए थे। वे बदलाव चाहते थे। इसका फायदा कुमार आयलानी को मिला। ऊपर से प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी लहर आ गई। उस समय तो खर पतवार भी विधायक बन गए थे। ऐसे में कुमार आयलानी भी विधायक बन गए। दो टर्म विधायक रहे कुमार आयलानी की पॉपुलैरिटी एक नगरसेवक से ज़्यादा नहीं है। उधर नगरसेवक होकर भी भुल्लर महाराज की पॉपुलैरिटी एक विधायक से ज़्यादा है।
ऐसे में अगर शिवसेना और भाजपा की युति नहीं होती है और शिवसेना विकी भुल्लर को टिकट देती है तो शहर की राजनीति का परिदृश्य कुछ और होगा।